बिहार : सीवान में नदी में डूबने से एक ही फैमिली के पांच लोगों की मौत

बिहार के सीवान जिले के असांव पुलिस स्टेशन एरिया के कानपाकड़ गांव झरही नदी में डूबकर एक ही फैमिली के पांच लोगों की मौत हो गई। घर एक सदस्य की मौत के बाद परिवार के लोग नदी के किनारे इकट्ठे हुए थे। पीपल के पेड़ पर घंट टांगने के बाद वे स्नान कर रहे थे। इसी दौरान डूबने से चार लोगों की मौत हो गई। 

बिहार : सीवान में नदी में डूबने से एक ही फैमिली के पांच लोगों की मौत


 पटना। बिहार के सीवान जिले के असांव पुलिस स्टेशन एरिया के कानपाकड़ गांव झरही नदी में डूबकर एक ही फैमिली के पांच लोगों की मौत हो गई। घर एक सदस्य की मौत के बाद परिवार के लोग नदी के किनारे इकट्ठे हुए थे। पीपल के पेड़ पर घंट टांगने के बाद वे स्नान कर रहे थे। इसी दौरान डूबने से पांच लोगों की मौत हो गई। इनमें तीन सगे भाई हैं।

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कांधपाकड़ गांव में शुक्रवार की सुबह 11 बजे परदादी के अंत्येष्टि कर्म के बाद कुछ लोग स्थानीय झरहि नदी में नहाने गये थे। नदी में एक-दूसरे को बचाने के चक्कर में एक-एक कर सभी डूब गये। मृतकों में कांधपाकड़ गांव निवासी श्रीराम गुप्ता के 4 जवान बेटे शामिल हैं। इनमें विजय गुप्ता (24), विकास गुप्ता (22), रितेश गुप्ता (26) और विशाल गुप्ता (23)हैं। मृतक पांचवां युवक अजय गुप्ता (22) भी श्रीराम गुप्ता के ही परिवार का है। वह काफी देर तक नदी में लापता था। लोगों ने कड़ी मशक्कत के बाद उसका बॉडी बाहर निकाला।मृतकों में तीन

बताया जाता है कि गांव के ही अशर्फी साह की 120 वर्षीया मां दुधिया देवी की गुरुवार को मौत हो गयी थी। अंत्येष्टि के बाद  शुक्रवार की सुबह लगभग साढ़े दस बजे स्नान करने के लिए परिवार के सभी लोग नदी गये। झारही नदी में स्नान के लिए गया एक युवक अचानक पानी में डूबने लगा। युवक को बचाने के क्रम में ही चार और युवक नदी में डूब गये। पांचो की मौत हो गयी। घटना के बाद मौके पर अफरा-तफरी का माहौल बन गया है।एक ही परिवार के पांचों के डूबने के बाद लोकल लोगों ने खुद से रेस्क्यू करना शुरू किया। लगभग आधा घंटे के भीतर एक-एक करके चार लोगों की बॉडी पानी से बाहर निकाला गया। जबकि पांचवें युवक की बॉडी खोजने में लोगों को 40 मिनट से अधिक लगे। पांचों युवक की बॉडी  को निकालकर लोग आनन-फानन में सीवान सदर अस्पताल पहुंचे,जहां डॉक्टर ने उसके मरने की पुष्टि कर दी। 120 साल की दुधिया देवी की हो रही थी। दुधिया देवी मृतक युवकों की परदादी थी।

सरकारी व्यवस्था पर लोगों ने उठाया सवाल
लोगों ने बताया कि नदी से निकालने के बाद तुरंत इलाज नहीं मिलने की वजह से सबकी मौत होती चली गई। लोगों का आरोप है कि पांच किलोमीटर के दायरे में मात्र एक असांव उप स्वास्थ्य केंद्र मौजूद है। पूरे साल इसमें ताला लगा रहता है। कोई भी मेडिकल स्टाफ डॉक्टर यहां पर मौजूद नहीं रहते हैं।