बिहार: शराब तस्करी से संबंधित ऑडियो वायरल मामला, कदमकुआं के तत्कालीन थानेदार, एसआइ और कांस्टेबल सस्पेंड

शराब तस्करों को छोड़ने को लेकर में दलाली से संबंधित ऑडियो वायरल मामले में इंस्पेक्टर सह कदमकुआं के तत्कालीन थानेदार निशिकांत निशि, सब इंस्पेक्टर राकेश कुमार और कांस्टेबल अरुण कुमार को सस्पेंड कर दिया गया है।

  • आइजी ने इंस्पेक्टर निशिकांत निशि, सब इंस्पेक्टर राकेश कुमार और कांस्टेबल अरुण कुमार को किया सस्पेंड 

पटना।शराब तस्करों को छोड़ने को लेकर में दलाली से संबंधित ऑडियो वायरल मामले में इंस्पेक्टर सह कदमकुआं के तत्कालीन थानेदार निशिकांत निशि, सब इंस्पेक्टर राकेश कुमार और कांस्टेबल अरुण कुमार को सस्पेंड कर दिया गया है। मामले की जांच में तीनों दोषी पाये गये हैं। 
टाउन डीएसपी सुरेश कुमार की जांच रिपोर्ट सिटी एसपी सेंट्रल विनय तिवारी के माध्यम गुरुवार को सेंट्रल रेंज आइजी संजय सिंह को मिली।  आइजी ने बताया कि इंस्पेक्टर निशिकांत वर्तमान में बुद्धा कॉलोनी के थानेदार हैं। एवीडेंस और जांच रिपोर्ट के आधार पर उन्हें सस्पेंड कर दिया गया है। उन्हें पटना रेंज से बाहर भेजने के लिए पुलिस हेडक्वार्टर को पत्र लिखा जा रहा है। वहीं सब इंस्पेक्टर और कांस्टेबल को एसएसपी ने सस्पेंड कर दिया है। दोनों का ट्रांसफर नालंदा जिले में कर दिया गया है। तीनों के खिलाफ डिपार्टमेंटल प्रोसिंडिंग भी होगी। 

शराब तस्करों को छोड़ने से संबंधित दलाली का ऑडियो हुआ था वायरल 

शराब मामले में दलाली का ऑडियो एक सप्ताह पूर्व वायरल हुआ था। ऑडियो में कदमकुआं थाने में नौ पेटी शराब के साथ जब्त सफारी गाड़ी व दो शराब तस्करों को छोडऩे के लिए पांच लाख रुपये की सौदेबाजी की जा रही थी। ऑडियो कदमकुआं थाने में अक्सर देखे जाने वाले दलाल सूरज मिश्रा का बताया गया था। सूरज मिश्रा की थाने में अच्छी पैठ भी थी। मामला प्रकाश में आने के बाद जांच के बाद पुलिस ने एफआइआर दर्ज कर सूरज को अरेस्ट कर जेल भेज दिया था। आइजी ने ऑडियो सहित अन्य बिन्दुओं पर सिटी एसपी और डीएसपी को जांच करने का निर्देश दिया था।
सब इंस्पेक्टर व कांस्टेबल की दलाल के साथ साठगांठ की पुष्टि

बताया जाता है कि जांच में यह बात सामने आई कि सूरज तत्कालीन थानेदार निशिकांत से लेकर एसआइ राकेश और क्विक मोबाइल के कांस्टेबल अरुण के संपर्क में रहा करता था। थाने में उसकी गहरी पैठ थी। उसके खिलाफ जमीन से लेकर शराब मामले में लेनदेन की शिकायत पूर्व में भी आ चुकी थी। लेकिन कोई ठोस साक्ष्य नहीं मिल रहा था। वहीं डीएसपी की जांच में भी एसआइ व कांस्टेबल की दलाल के साथ साठगांठ की पुष्टि हो चुकी है। थानेदार के खिलाफ पूर्व में भी कई शिकायतें सीनीयर अफसरों तक पहुंच चुकी थीं। निशिकांत तत्कालीन थानेदार थे और इनके कार्यकाल में ही सफारी गाड़ी पकड़ी गई थी। इसके बाद दलाली की बात उजागर हुई। ऐसे में प्रथमदृष्टया दोषी मानते हुए निशिकांत पर भी गाज गिरी है। निशिकांत निशि को हाल ही में कदमकुआं से हटाकर बुद्धा कॉलोनी थाने का थानेदार बनाया गया था।