पाकिस्तान: कट्टरपंथियों द्वारा तोड़े गए हिंदू मंदिर के पुनर्निर्माण के बाद चीफ जस्टिस ने किया उद्घाटन

पाकिस्तान के चीफ जस्टिस गुलजार अहमद ने सोमवार को पुनर्निर्मित टेरी मंदिर का लोकार्पण किया। ऐसा कर उन्होंने देश के कट्टरपंथी मुसलमानों को बड़ा और कड़ा संदेश दिया। बताया जाता है कि इस मंदिर का निर्माण लगभग 100 साल पहले किया गया था। तब से इसमें हिंदू भक्त पूजा-अर्चना करते आ रहे हैं। उत्तर-पश्चिम पाकिस्तान में स्थित एक सदी पुराने इस मंदिर को पिछले साल कट्टरपंथियों ने आग के हवाले कर दिया था। चीफ जस्टिस अहमद ने ही प्राधिकारों को मंदिर के पुनर्निर्माण का आदेश दिया था। अब उसका पुननिर्माण कर फिर से भक्तों के लिए खोल दिया गया है। 

पाकिस्तान: कट्टरपंथियों द्वारा तोड़े गए हिंदू मंदिर के पुनर्निर्माण के बाद चीफ जस्टिस ने किया उद्घाटन
चीफ जस्टिस गुलजार अहमद (फाइल फोटो)।

पेशावर। पाकिस्तान के चीफ जस्टिस गुलजार अहमद ने सोमवार को पुनर्निर्मित टेरी मंदिर का लोकार्पण किया। ऐसा कर उन्होंने देश के कट्टरपंथी मुसलमानों को बड़ा और कड़ा संदेश दिया। बताया जाता है कि इस मंदिर का निर्माण लगभग 100 साल पहले किया गया था। तब से इसमें हिंदू भक्त पूजा-अर्चना करते आ रहे हैं। उत्तर-पश्चिम पाकिस्तान में स्थित एक सदी पुराने इस मंदिर को पिछले साल कट्टरपंथियों ने आग के हवाले कर दिया था। चीफ जस्टिस अहमद ने ही प्राधिकारों को मंदिर के पुनर्निर्माण का आदेश दिया था। अब उसका पुननिर्माण कर फिर से भक्तों के लिए खोल दिया गया है। 

न्यूजीलैंड के खिलाफ टी20 सीरीज के लिए इंडियन टीम का ऐलान, रोहित शर्मा बने कैप्टन, विराट कोहली को मिला आराम
खैबर पख्तूनख्वा के करक जिले में स्थित श्री परमहंस जी महाराज मंदिर में पिछले साल दिसंबर में कट्टरपंथियों ने तोड़फोड़ के बाद आग लगा दी थी। भीड़ का नेतृत्व कुछ स्थानीय मौलवी कर रहे थे, जो जमीयत उलेमा-ए-इस्लाम फजल से जुड़े थे। तब चीफ जस्टिस अहमद ने प्राधिकारों को मंदिर का पुनर्निर्माण कराने और उसका पैसा हमलावरों से वसूलने का आदेश दिया था।
संविधान हिंदुओं को भी देता है दूसरे समुदायों के जैसा अधिकार

एक्सप्रेस ट्रिब्यून अखबार की खबर के अनुसार चीफ जस्टिस गुलजार अहमद हिंदू समुदाय के सदस्यों के साथ दिवाली त्योहार मनाने और एकजुटता व्यक्त करने के लिए पुनर्निर्मित मंदिर में एक भव्य समारोह में शामिल हुए।  समारोह को संबोधित करते हुए चीफ जस्टिस अहमद ने कहा कि पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने हमेशा अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा के लिए कदम उठाये हैं। वह भविष्य में भी ऐसा करना जारी रखेगा। उन्हें अखबार द्वारा यह कहते हुए उद्धृत किया गया कि संविधान के अनुसार, हिंदुओं को पाकिस्तान में अन्य धर्मों के लोगों के समान अधिकार प्राप्त हैं।उन्होंने कहा कि किसी को भी किसी अन्य समुदाय के धार्मिक पूजा स्थल को नष्ट करने या नुकसान पहुंचाने का अधिकार नहीं है। सर्वोच्च न्यायालय आगे देश के अल्पसंख्यक समुदायों को धार्मिक स्वतंत्रता की सुरक्षा सुनिश्चित करेगा। इस मौके पर हिंदू समुदाय ने मुख्य न्यायाधीश को पगड़ी और डिजिटल कुरान भेंट की।

चार अन्य ऐतिहासिक मंदिरों को खोलने की मांग

पाकिस्तान हिंदू परिषद के मुख्य संरक्षक व पीएम इमरान खान की तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के सीनीयर लीडर डा. रमेश कुमार वांकवानी ने चीफ जस्टिस का आभार जताया। उन्होंने कहा कि अगर देश के चार और ऐतिहासिक मंदिरों का जीर्णोद्धार करवाकर उन्हें लोगों के लिए खोल दिया गया तो इससे दुनिया में पाकिस्तान की छवि बेहतर करने में मदद मिलेगी। टेरी में स्थित मंदिर का निर्माण वर्ष 1920 में संत परमहंस जी महाराज की याद में किया गया था।रिपोर्ट में कहा गया कि प्रधानमंत्री इमरान खान की अध्यक्षता वाली सत्तारूढ़ तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के एक वरिष्ठ नेता कुमार ने कहा कि अगर चार अन्य ऐतिहासिक मंदिरों के उद्घाटन के लिए इसी तरह के कदम उठाये जाते हैं, तो इससे दुनिया में देश की छवि सुधारने में मदद मिलेगी।