Dhanbad: झरिया के पूर्व विधायक संजीव सिंह की बेटी सताक्षी ने दी बड़ी खबर, कहा- पापा लौट रहे हैं!

झरिया के पूर्व विधायक संजीव सिंह की बेटी सताक्षी सिंह ने फेसबुक पोस्ट में पिता की वापसी का संकेत दिया। लिखा – “अधर्म का अंत, पापा जल्द लौट रहे हैं।” 8 साल जेल में रहने के बाद संजीव सिंह हुए थे बरी।

Dhanbad: झरिया के पूर्व विधायक संजीव सिंह की बेटी सताक्षी ने दी बड़ी खबर, कहा- पापा लौट रहे हैं!
हॉस्पिटल में इलाजरत संजीव सिंह।

धनबाद। झरिया के एक्स बीजेपी एमएलए संजीव सिंह की बेटी सताक्षी सिंह ने सोशल मीडिया पर एक भावनात्मक पोस्ट शेयर किया है, जो अब धनबाद की सियासत में चर्चा का विषय बन गया है। उन्होंने अपने फेसबुक पेज पर “#blessings from God, #PositiveEnergyOnly, #comingbacksoon, #अधर्म_का_अंत” जैसे टैगलाइन के साथ पिता के जल्द लौटने का संकेत दिया है।
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सताक्षी ने लिखा —“आप सभी को सूचित करते हुए मुझे अत्यंत प्रसन्नता हो रही है कि मेरे पिता, उपचार एवं थेरेपी के पश्चात लगभग पूर्णतः स्वस्थ हो चुके हैं। मैं आपको यह बताते हुए आनंदित हूं कि शीघ्र ही अपने परिवारजनों और हमारे सम्मानित कार्यकर्ताओं के बीच पुनः उपस्थित होंगे। जिन्होंने हम पर भरोसा रखा, प्यार दिया और पिछले आठ वर्षों के संघर्षपूर्ण सफर में हमारे साथ खड़े रहे — उन सभी का मैं हृदय से आभार व्यक्त करती हूं। जय श्रीराम ????।”
पोस्ट के अंत में उन्होंने “Ragini Singh, Singh Mansion” के नाम से हस्ताक्षर किया और “#अधर्म_का_अंत” का हैशटैग इस्तेमाल कर यह संकेत दिया कि उनका परिवार एक बार फिर राजनीति में सक्रिय होने की तैयारी में है। बताया जाता है कि संजीव सिंह दिल्ली के किसी हॉस्पिटल में इलाजरत है। जेल से रिहा होने के बाद अभी तक वे साार्वजनिक नहीं हुए हैं।
राजनीतिक हलचल तेज
सताक्षी सिंह का यह फेसबुक पोस्ट आने के बाद झरिया और धनबाद के राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज हो गयी है। लोगों का मानना है कि संजीव सिंह के लौटने से झरिया की राजनीति में एक बार फिर बड़ा फेरबदल देखने को मिल सकता है। सिंह परिवार का झरिया विधानसभा क्षेत्र में अब भी मजबूत जनाधार माना जाता है।
सोशल मीडिया पर प्रतिक्रियाएं
पोस्ट के बाद से ही फेसबुक और एक्स (Twitter) पर लोगों ने कमेंट कर संजीव सिंह के स्वस्थ होने की शुभकामनाएं दी हैं। कई समर्थकों ने लिखा — “सिंह साहब की वापसी झरिया के लिए शुभ संकेत है।” वहीं कुछ ने “#SinghIsBack” और “#JusticePrevails” जैसे टैग इस्तेमाल किए।
निष्कर्ष
संजीव सिंह की बेटी का यह पोस्ट न सिर्फ भावनात्मक है बल्कि यह झरिया की राजनीति में उनकी संभावित वापसी का संकेत भी दे रहा है। अब देखना दिलचस्प होगा कि संजीव सिंह के पुनः सक्रिय होने के बाद झरिया में राजनीतिक समीकरण कैसे बदलते हैं।
आठ साल पांच माह जेल में रहे संजीव सिंह 
उल्लेखनीय है कि झरिया के एक्स एमएलए संजीव सिंह लगभग आठ पांच माह से ज्यादा समय तक तक जेल में बंद रहे। उन पर अपने चचेरे भाई कांग्रेस नेता और धनबाद के एक्स डिप्टी मेयर नीरज सिंह सहित चार लोगों की हत्या का आरोप लगा था। यह मामला 2017 में धनबाद की राजनीति का सबसे बड़ा मर्डर केस माना गया था। लंबी न्यायिक प्रक्रिया के बाद 27 अगस्त 2025 को ट्रायल कोर्ट ने साक्ष्य के अभाव में उन्हें बरी कर दिया। उनकी रिहाई के बाद सिंह परिवार के समर्थकों में खुशी की लहर दौड़ गयी थी।
10 लोगों के खिलाफ चला ट्रायल, सभी दोषमुक्त हुए
कोयला राजधानी धनबाद की बहुचर्चित एक्स डिप्टी मेयर नीरज सिंह समेत चार लोगों की मर्डर केस में एमपी-एमएलए कोर्ट के स्पेशल जज डीसी अवस्थी की कोर्ट ने  27 अगस्त 2025 को झरिया के एक्स एमएलए संजीव सिंह समेत 10 आरोपियों को बाईज्जत बरी कर दिया है। एमपी-एमएलए कोर्ट के स्पेशल जज डीसी अवस्थी की कोर्ट ने 593 पेज में अपना जजमेंट दिया है। इसमें झरिया के एक्स एमएलए संजीव सिंह, उत्तर प्रदेश के आंबेडकर नगर के शूटर अमन सिंह, सुल्तानपुर के कुर्बान अली उर्फ सोनू, बलिया के चंदन सिंह उर्फ रोहित उर्फ सतीश और सुल्तानपुर के शिबू उर्फ सागर सिंह के साथ के साथ शूटरों को धनबाद बुलाने के आरोपी यूपी के सुल्तानपुर लंभुआ के पंकज सिंह, समस्तीपुर के राकेश मिश्रा उर्फ डब्लू मिश्रा उर्फ डब्लू गिरि, नीरज सिंह की रेकी करने वाला झरिया घनुडीह निवासी विनोद सिंह, सरायढेला के रणवीर धनंजय सिंह उर्फ धनजी, जैनेंद्र सिंह उर्फ पिंटू और झरिया माडा कॉलोनी निवासी स्वर्गीय रंजय सिंह के भाई संजय सिंह को बरी कर दिया है। इस केस के एक आरोपित यूपी के डॉन रहे दिवंगत मुन्ना बजरंगी के शार्प शूटर प्रयागराज निवासी धर्मेंद्र प्रताप सिंह उर्फ रिंकू सिंह के खिलाफ अभी अलग से ट्रायल चल रहा है। वही एक अन्य आरोपी गैंगस्टर अमन सिंह की धनबाद जेल में तीन दिसंबर 2023 को मर्डर कर दी गयी थी।
आठ साल पांच माह पांच दिन बाद कोर्ट ने सुनाया फैसला 
आठ साल पांच माह पांच दिन बाद कोर्ट ने मामले में फैसला सुनाया है। आठ साल तक 408 तारीखों पर सुनवाई हुई। इसके बाद 27 अगस्त 2025 को कोर्ट ने अपना अंतिम फैसला सुनाया।  49 तारीख और 22 महीने के बाद तीन जनवरी 2019 को आरोपियों के खिलाफ चार्ज फ्रेम किया गया। अभियोजन की ओर से 106 तारीख के दौरान 74 में से 37 गवाह और साक्ष्य पेश किये। बचाव पक्ष की ओर से 86 तारीख में पांच लोगों की गवाही करायी गयी। 49 तारीख पर दोनों पक्षों के वकीलों की तरफ से बहस हुई।
2017 में हुई थी मर्डर नीरज सिंह समेत 
धनबाद के एक्स डिप्टी मेयर नीरज सिंह समेत चार लोगों को सरायढेला स्टील गेट के समीप वर्ष 2017 की 21 मार्च की शाम गोलियों से भून दिया गया था। एक्स डिप्टी मेयर सह कांग्रेस लीडर नीरज सिंह अपनी फॉर्च्यूनर (जेएच10एआर-4500) से झरिया से सरायढेला स्थित अपने आवास रघुकुल लौट रहे थे। नीरज गाड़ी में ड्राईवर के साथ आगे की सीट पर बैठे थे। पीछे की सीट पर उनके सहायक सरायढेला न्यू कालोनी निवासी अशोक यादव और प्राइवेट बॉडीगार्ड मुन्ना तिवारी बैठे थे। स्टील गेट के पास बने स्पीड ब्रेकर पर नीरज की फॉर्च्यूनर की स्पीड कम होते ही दो बाइक पर सवार हमलावरों ने उनकी चारों तरफ से घेर फायरिंग करनी शुरु कर दिया । चारों तरफ से अत्याधुनिक आर्म्स से 70 से अधिक राउंड फायरिंग की गयी थी। घटना के बाद आसपास के इलाकों में भगदड़ मच गयी थी। गाड़ी में सवार नीरज सिंह समेत अशोक यादव, मुन्ना तिवारी और ड्राइवर घोलटू महतो की भी मौके पर ही मौत हो गयी थी। फॉर्च्यूनर सवार एक्स डिप्टी मेयर नीरज सिंह को निशाना बनाकर 70 से अधिक गोलियां चली थीं। नीरज सिंह बॉडी से 17 गोलियां निकाली गयी थीं, जबकि 36 जख्म के निशान मिले थे। 
नीरज सिंह के भाई अभिषेक सिंह उर्फ गुड्डू सिंह की लिखित कंपलेन पर मामले में संजीव सिंह, मनीष सिंह, पिंटू सिंह, महंथ पांडेय व गया सिंह के खिलाफ सरायढेला पुलिस स्टेशन में कांड संख्या 48/2017 के तहत एफआइआर दर्ज की गयी थी। नीरज के चचेरे भाई झरिया के तत्कालीन एमएलए संजीव सिंह ने 11 अप्रैल 2017 को सरायढेला पुलिस स्टेशन में सरेंडर किया था। पुलिस इस मामले 11 अप्रैल को नीरज के चचेरे भाई झरिया के तत्कालीन एमएलए संजीव सिंह, राकेश मिश्रा उर्फ डब्लू मिश्रा उर्फ डब्लू गिरि, रणधीर धनंजय सिंह उर्फ धनजी, संजय सिंह व जैनेंद्र सिंह उर्फ पिंटू सिंह को जेल भेजा था। बाद में घनुडीह निवासी बिनोद सिंह को भी अरेस्ट कर जेल भेजा गया। इसके बाद यूपी पुलिस ने इस मर्डर में शामिल शूटरों उत्तर प्रदेश के शूटर सोनू उर्फ कुर्बान अली, विजय उर्फ शिबू उर्फ सागर सिंह,अमन सिंह, रिंकू सिंह, सतीश सिंह व पंकज सिंह को बारी-बारी से अरेस्ट कर धनबाद पुलिस को सौंपी थी। ये सभी झारखंड के अलग-अलग जेलों में बंद थे।धनबाद जेल में तीन दिसंबर 2023 को गैंगस्टर अमन सिंह की मर्डर कर दी गयी थी।
21 मार्च की घटना व 23 मार्च को दर्ज हुई एफआइआर, सरायढेला में केस लेकिन चिरकुंडा थानेदार बने आईओ
नीरज सिंह के भाई अभिषेक सिंह उर्फ गुड्डू सिंह की लिखित कंपलेन पर 23 मार्च को संजीव सिंह, मनीष सिंह, पिंटू सिंह, महंथ पांडेय व गया सिंह के खिलाफ सरायढेला पुलिस स्टेशन में कांड संख्या 48/2017 के तहत एफआइआर दर्ज की गयी थी। पुलिस इंंस्पेक्टर सह सरायढेला पुलिस स्टेशन के इंचार्ज अरविंद कुमार ने एफआइआर दर्ज कर सीनीयर अफसरों के आदेश पर केस का आईओ पुलिस इंस्पेक्टर सह थाना प्रभारी चिरकुंडा निरंजन तिवारी को बना दिया। एसएसपी ने सरायढेला थानेदार अरविंद कुमार को लाइन क्लोज कर चिरकुंडा थानेदार निरंजन तिवारी को सरायढेला थाना प्रभारी बना दिया। कोयलांचल के बहुचर्चित नीरज सिंह मर्डर केस का आईओ व सरायढेला थानेदार बनते ही पुलिस इंस्पेक्टर निरंजन तिवारी का जिला पुलिस महकमे में कद काफी बढ़ गया। पुलिसिया लिखा-पढ़ी में कमजोर कहे जाने वाले इंस्पेक्टर निरंजन तिवारी का खेल शुरु हो गया। अब बचाव पक्ष मामले में केस आईओ रहे तत्कालीन पुलिस इंस्पेक्टर निरंजन तिवारी व सरकारी वकील के खिला्फ जाली दस्तावेज प्रस्तुत करने के मामले में कोर्ट से कार्रवाई का आग्रह किया है।