झारखंड में नये DGP की नियुक्ति पर स्टेट गवर्नमेंट UPSC को 23 दिसंबर तक दे जवाब: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड में नये DGP की नियुक्ति में हो रही देरी का संज्ञान लिया है। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने  झारखंड गवर्नमेंट को यूपीएससी को डीजीपी के पोस्ट के लिए अफसरों के नामों की अनुशंसा करने के लिए प्रोपोजल में खामियों को दूर करने के लिए जवाब देने का आदेश दिया है।

झारखंड में नये DGP की नियुक्ति पर स्टेट गवर्नमेंट UPSC को 23 दिसंबर तक दे जवाब: सुप्रीम कोर्ट
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड में नये DGP की नियुक्ति में हो रही देरी का संज्ञान लिया है। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने  झारखंड गवर्नमेंट को यूपीएससी को डीजीपी के पोस्ट के लिए अफसरों के नामों की अनुशंसा करने के लिए प्रोपोजल में खामियों को दूर करने के लिए जवाब देने का आदेश दिया है।
नये डीजीपी की नियुक्ति को लेकर मामले की सुनवाई करते हुए चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ और जस्टिस पी एस नरसिम्हा की बेंच ने मामले की सुनवाई की है। यूपीएससी की ओर से पेश एडवोकेट नरेश कौशिक ने बताया है कि 30 नवंबर, 2022 को यूपीएससी ने झारखंड राज्य को एक पत्र जारी किया है। इसमें डीजीपी के पद के लिए अफसरों की सिफारिश करने के प्रोपोजल में पाई गई कुछ खामियों के बारे में बताया गया है। इसके बाद बेंच ने कहा कि हम झारखंड राज्य को निर्देश देते हैं कि वह यूपीएससी द्वारा  बताई गई त्रुटियों पर ध्यान दे। 23 दिसंबर को या उससे पहले अपना जवाब सकारात्मक रूप से दाखिल करे। इसके बाद यूपीएससी 9 जनवरी, 2023 तक पद पर नियुक्ति से जुड़ी कार्रवाई करेगा।
अवमानना याचिका सुनवाई के लिए 16 जनवरी को सूचीबद्ध 
सुप्रीम कोर्ट ने झारखंड सरकार और अन्य के खिलाफ अवमानना याचिका को सुनवाई के लिए अगले साल की 16 जनवरी के लिए सूचीबद्ध किया। सुप्रीम कोर्ट में झारखंड सरकार और उसके वर्तमान डीजीपी नीरज सिन्हा के खिलाफ एक अवमानना याचिका दायर की गई है। इसमें आरोप लगाया गया है कि वह 31 जनवरी, 2022 को रिटायर होने के बाद भी पद पर काबिज हैं।