मुंबई: भारी बारिश से तीन की मौत, सड़कों पर पानी भरा, जगह-जगह जल जमाव, अगले 48 घंटे में तेज वर्षा की चेतावनी

  • तेज हवाओं के साथ विजिबिलिटी भी हुई कम हुई, कई जगह ट्रैफिक जाम
  • बीएमसी ने मैनहोल न खोलने के दिए निर्देश
  • बारिश के चलते मुंबई के निचले इलाकों में घुटनों तक पानी भरा
  • महाराष्ट्र विधानसभा में मुंबई में जलभराव का मुद्दा उठा
  • स्काईमेट ने अगले 48 घंटे में मुंबई में 100 मिमी तक बारिश का अनुमान जताया
मुंबई: मुंबई में मॉनसून की दस्तक देने के बाद सुबह से ही कई इलाकों में शुक्रवार को तेज बारिश हुई है.बारिश की स्पीड बढ़ने के साथ कई जगहों पर जल-जमाव की वजह से जाम के हालात बन गये. तेज हवाओं के साथ बारिश के कारण विजिबिलिटी भी कम हो गयी है. लोकल ट्रेनों के संचालन पर बारिश का असर पड़ा.मुंबई टाउन व आसपास के इलाकों में शुक्रवार को जोरदार बारिश हुई. भारी बारिश से अंधेरी, जोगेश्वरी, बोरिवली, दादर, घाटकोपर, मुलुंड, चर्चगेट, पवई, वसई और पालघर समेत आसपास के कई इलाकों में सड़कों पर घुटनों तक पानी भर गया. बारिश और जलभराव के चलते सड़कों पर लंबा ट्रैपिक जाम रहा. स्काईमेट ने अगले 48 घंटे में मुंबई में 100 मिमी तक बारिश होने का अनुमान जताया है. अब तक बारिश में हुई घटनाओं के कारण तीन लोगों की मौत हो चुकी है. भारी बारिश के कारण मुंबई की लाइफलाइन कही जाने वाली लोकल भी बुरी तरह प्रभावित रही. मुंबई लोकल की तीनों लाइन इससे प्रभावित रही. 33 उपनगरीय ट्रेनों के रद्द होने के साथ ही 250 ट्रेनें देरी से चलीं. मध्य रेलवे पर विक्रोली-कांजूरमार्ग और ठाणे स्टेशन पर लोगों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ा. वहीं एयरपोर्ट के एक अधिकारी ने कहा कि विमानों के संचालन में सामान्य दृश्यता से संबंधित औसतन 15 मिनट की देरी रही, जो मुख्य रूप से आने वाली सेवाओं के लिए थी, लेकिन परिचालन काफी हद तक अप्रभावित रहा. साथ ही बेस्ट बसों के रूट में काफी बदलाव किया गया. ईस्टर्न एक्सप्रेस हाईवे और वेस्टर्न एक्सप्रेस हाईवे पर कई जगहें जलभराव की चपेट में आ गयी. जगह-जगह जल-जमाव मुंबई के हिंदमाता, अंधेरी सबवे, मालाड सबवे, साकीनाका, सायन, माटुंगा लैबर कैंप, मिलन सबवे, नैशनल कॉलेज समेत कई अन्य जगहों पर पानी भरने से ट्रैफिक बाधित हुआ। कुछ घंटों की मशक्कत के बाद ही पानी कम हो सकाएयरपोर्ट अथॉरिटी के प्रवक्ता ने बताया कि बारिश से दृश्यता 1500 मीटर है. सुबह 9 बजे के आसपास सिर्फ एक फ्लाइट का डायवर्जन किया गया था. बाकी विमानों की आवाजाही जारी रही. मुंबई के वेस्टर्न एक्सप्रेस वे पर बारिश के चलते गाड़ियों का कई किलोमीटर लंबा जाम लग गया. सड़कों पर पानी भरने के कारण शुक्रवार सुबह ऑफिस जाने वालों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा. लालबाग फ्लाइओवर, अंधेरी ईस्ट की तेली गली, अंधेरी वेस्ट से ईस्ट, देवनार से शिवाजी सर्कल, जेजे फ्लाइओवर, जोगेश्वरी-विक्रोली लिंक रोड और ईस्टर्न एक्सप्रेस हाइवे पर जाम की स्थिति रही. बीएमसी डिजास्टर मैनेजमेंट से मिली जानकारी के अनुसार, करंट लगने के दो अलग मामलों में तीन लोगों की मौत हो गई। गोरेगांव के इरवानी इस्टेट में सुबह 7:56 बजे ही करंट की चपेट में चार लोग आ गए थे, जिनमें से अस्पताल में राजेंद्र यादव (60), संजय यादव (24) को मृत घोषित कर दिया। एक बच्चे समेत दो लोगों का इलाज चल रहा है. अंधेरी (वेस्ट) में भी सुबह 7:48 बजे काशिमा युडियार (60) की करंट लगने से मौत हो गई. इसके अलावा, महानगर में छह जगह घर गिरने के मामले सामने आए. इनमें घायल हुए तीन में से दो की हालत गंभीर है.सुबह से हो बारिश से मुंबई के लोगों कोउमस भरी गर्मी से राहत मिली है. शुक्रवार सुबह 8 बजे मुंबई का तापमान गिरकर 27 डिग्री सेल्सियस पहुंच गया. मुंबई के मलाड इलाके में सुबह 6.30 बजे 38 वर्षीय शैलेश मोहनलाल राठौड़ के ऊपर पेड़ गिरने से मौत हो गई है. चर्चगेट स्टेशन के बाहर एक सीमेंट होर्डिंग शीट तेज हवाओं के चलते उखड़ गई और राहगीर के ऊपर गिर गई जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया. उसे छत्रपति शिवाजी टर्मिनल के समीप जीटी अस्पताल ले जाया गया, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई. महाराष्ट्र के 12 जिलों में भारी बारिश का अनुमान मौसम एजेंसी स्काईमेट का अनुमान है कि अगले 48 घंटे में मुंबई में 100 मिमी तक बारिश हो सकती है. मुबई के अलावा, अलीबाग, कोल्‍हापुर, सबअर्बन, नागपुर, पालघर, पुणे, रायगढ़, रत्‍नागिरी, सांगली, सतारा, सिंधुदुर्ग और ठाणे में भी भारी बारिश का अनुमान है. मौसम विभाग के मुताबिक, गुरुवार सुबह 8 बजे से शुक्रवार सुबह 8 बजे तक राज्य में सबसे ज्यादा नासिक में 374.5 मिमी बारिश दर्ज हुई है.मौसम विभाग ने मुंबई और उसके आस-पास अगले दो दिन के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है. बीएमसी ने किसी भी अनहोनी से बचने के लिए लोगों को मैनहोल खोलने से मना किया है.तटीय क्षेत्रों खास तौर से मुंबई, ठाणे, रत्नागिरी और आसपास के इलाकों में भारी बारिश होने की संभावना है. बीएमसी इसके लिए जमीन पर तो तैयारी कर रही है, साथ-साथ हर वॉर्ड के लिए एक ट्विटर हैंडल बनाया गया है जिस पर अपने इलाके से जुड़ी समस्या बताई जा सकती है. मौसम विभाग के अनुमान के मुताबिक अगले दो दिन मुंबई पर भारी हैं। कोलाबा स्थित प्रादेशिक मौसम केंद्र ने अगले पांच दिनों के मौसम का पूर्वानुमान लगाया है. 28 और 29 जून को मुंबई कुछ इलाकों में भारी से काफी भारी बारिश हो सकती है. हालांकि 30 जून और एक जुलाई को थोड़ा राहत मिल सकती है. इस दौरान हल्की से मध्यम बारिश के आसार हैं.महाराष्ट्र के पालघर समेत मुंबई के ज्यादातर इलाकों में शुक्रवार सुबह से ही मूसलाधार बारिश हो रही है. सुबह से हो रही तेज बारिश की वजह से मुंबई समेत महाराष्ट्र के निचले इलाकों में पानी भरना शुरू हो चुका है. जलभराव की वजह से मुंबई के बहुत से इलाकों में यातायात लगभग थम चुका है. कई निचले इलाकों में सड़कें लबालब हो चुकी हैं और लोगों के घरों में भी पानी घुसने लगा .ै। भीषण बारिश की वजह से एयरपोर्ट पर विजिबिलिटी कम हो गई है, जिससे उड़ानों पर भी असर पड़ रहा है. बारिश से मुंबई की लाइफलाइन लोकल पर कोई खास असर नहीं देखा जा रहा है. कुछ स्टेशनों पर मुसाफिर फंस गये हैं. मुंबई मेट्रो की सेवाएं भी सुचारु रूप से चल रही हैं. वेस्टर्न रेलवे रूट पर लोकल ट्रेनों का संचालन नॉर्मल है, जबकि सेंट्रल लाइन पर ट्रेनें 30 मिनट तक की देरी से चल रही हैं. वेस्टर्न रेलवे ने ट्वीट में लिखा है, 'मुंबई में मॉनसून आ गया है. वेस्टर्न रेलवे के उपनगरीय इलाकों में कुछ जगह भारी बारिश हो रही है. लोकल ट्रेनें सामान्य रूप से चल रही हैं और उनके संचालन में कोई व्यवधान नहीं आ रहा है.अंधेरी और सायन स्टेशनों पर जलभराव की वजह से लोगों को दिक्कत हो रही है.एयरपोर्ट, एसवी रोड, पवई, जुहू और वीरा देसाई रोड इलाके में भी जलभराव के हालात हैं.उपनगरीय इलाकों के लोकल ट्रेन स्टेशनों पर काफी भीड़ जमा हो गई है. वेस्टर्न एक्सप्रेस हाइवे पर भारी ट्रैफिक देखा जा रहा है. बारिश के बाद यहां ट्रैफिक रेंगते हुए चलता नजर आया. अंधेरी और कुर्ला रोड पर जलभराव की वजह से ट्रैफिक जाम हो गया. वर्ष 2005 की जानलेवा वारिश की याद कर सहमे लोग मुंबईवासियों को वर्ष 2005 में जानलेवा बारिश का सामना करना पड़ा था. वर्ष 2005 में हुई बारिश की वजह से मुंबई समेत महाराष्ट्र के ज्यादातर इलाकों में बाढ़ जैसे हालात बन गये थे. अंदरूनी सड़कों से लेकर राजमार्गों तक पर कई फिट पानी जमा हो गया था. भीषण बारिश की वजह कई दिनों तक यातायात प्रभावित रहा थाॉ. स्कूल-कॉलेज बंद कर दिए गये थे और लोग कई दिनों तक अपने घरों में कैद रहने को मजबूर हो गयेथे. हजारों की संख्या में घरों, दुकानों, फैक्ट्रियों, कंपनियों और सब स्टेशन में पानी भरने से लोगों को भारी नुकसान का सामना करना पड़ा था.जुलाई 2005 की इस बाढ़ से महाराष्ट्र को 5.50 बिलियन (550 करोड़) रुपये का नुकसान झेलना पड़ा था. कई दिनों तक ट्रेन और फ्लाईट का संचालन बुरी तरह से प्रभावित रहा था. लाखों की संख्या में लोग 26 जुलाई को अपने कार्यालय और सड़क पर गाड़ियों में फंसे रहे थे. महाराष्ट्र में इस दिन 944 एमएम (37.17 इंच) बारिश हुई थी. भीषण बारिश की वजह से जुलाई 2005 में (एक माह के भीतर) महाराष्ट्र में 1094 लोगों की असामायिक मौत हो गई थी. इनमें से ज्यादातर लोगों ने खुले मैनहोल और नालों की वजह से जान गंवाई थी. यही वजह है कि मुंबई में जब-जब मूसलाधार बारिश होती है, लोग 2005 की इस बारिश को याद कर कांप उठते हैं.