ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण, INS चेन्नई से अरब सागर में टारगेट को किया धवस्त

ndian Navy ने रविवार को ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण किया है। स्वदेशी स्टील्थ विध्वंसक आईएनएस चेन्नई से यह टेस्ट किया गया।

ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण, INS चेन्नई से अरब सागर में टारगेट को किया धवस्त
  • मिसाइल ने अरब सागर में अपने टारगेट को पिन पॉइंट सटीकता के साथ हिट किया

नई दिल्ली। Indian Navy ने रविवार को ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण किया है। स्वदेशी स्टील्थ विध्वंसक आईएनएस चेन्नई से यह टेस्ट किया गया। मिसाइल ने अरब सागर में मौजूद अपने टारगेट को पिन पॉइंट सटीकता के साथ सफलतापूर्वक हिट किया। डिफेंस रिसर्च एंड डिवेलपमेंट ऑर्गनाइजेशन (DRDO) ने एक बयान जारी कर यह जानकारी दी है। 

Indian Navy ब्रह्मोस के जरिए लंबी दूरी पर मौजूद सतह के लक्ष्यों को युद्धपोत से भेदने में सक्षम हो गई है। सुपरसोनिक प्रक्षेपास्त्र आवाज की गति से भी 2.8 गुना हाइ स्पीड से अपने टारगेट को भेदने की कैपिसिटी रखता है। इससे पहले डीआरडीओ और रूस के साइंटिस्ट के साझा प्रयास से निर्मित जमीन से जमीन पर मार करने वाले क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस का सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया था। मिसाइल 8.4 मीटर लंबा और 0.6 मीटर चौड़ा है। इसका वजन 3000 किलोग्राम है। यह मिसाइल 300 किलोग्राम वजन तक विस्फोटक ढोने और 300 से 500 किलोमीटर तक प्रहार करने की क्षमता रखता है।

ब्रह्मोस जमीन, हवा, पानी और मोबाइल लांचर से दागा जा सकता है। ब्रह्मोस मिसाइल एक दो चरणीय वाहन है, जिसमें ठोस प्रोप्लेट बूस्टर और एक तरल प्रोप्लेट रेमजेम सिस्टम है। ब्रह्मोस का पहला परीक्षण वर्ष 2001 की 12 जूनको आइटीआर चांदीपुर से ही किया गया था। इंडिया पिछले कई दिनों  नई-नई तरह की मिसाइल के साथ पुरानी मिसाइलों का भी प्रायोगिक परीक्षण कर रहा है।

कई गुणों से लैस ब्रह्मोस को भारत और रूस द्वारा संयुक्त रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित किया गया है। डिफेंस मिनिस्टर राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ, ब्रह्मोस और Indian Navy को सफलतापूर्वक लॉन्च के लिए बधाई दी। DDR&D के सेक्रेटरी और डीआरडीओ चेयरमैन डॉ. जी सतीश रेड्डी ने भी साइंटिस्ट, डीआरडीओ के सभी स्टाफ, ब्रह्मोस और Indian Navy को इस सफलता के लिए शुभकामनाएं देते हुए कहा कि यह इंडियन आर्मी की क्षमता को कई तरीकों से बढ़ायेगा।