झारखंड: हाईकोर्ट ने जेविएम एमएलए प्रदीप यादव की अग्रिम जमानत याचिका खारिज की

रांची: जेविएम एमएलए प्रदीप यादव को हाइकोर्ट से बड़ा झटका लगा है. झारखंड हाइकोर्ट ने अपनी ही पार्टी के महिला नेत्री के यौन शोषण मामले में आरोपित एमएलए प्रदीप यादव की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी. जस्टिस एके चौधरी की कोर्ट ने कहा कि एक महिला के साथ इस तरह का दुर्व्‍यवहार किया गया है. पुलिस जांच में प्रदीप यादव पर गंभीर आरोप बनता है, इसलिए कोर्ट इन्हें अग्रिम जमानत नहीं दे सकती है. हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान प्रदीप यादव की ओर से अधिवक्ता राजेंद्र कृष्णा ने अदालत को बताया कि 20 अप्रैल 2019 को देवघर के एक होटल में घटना हुई थी. इसके बाद भी पीडि़ता 20 से 23 अप्रैल तक उसी होटल में ठहरी रही, लेकिन प्राथमिकी नहीं दर्ज कराई. इस मामले में तीन मई को प्राथमिकी दर्ज कराई. इससे प्रतीत होता है कि पीडि़ता ने सोची समझी साजिश के तहत प्रदीप यादव पर मामला दर्ज कराया है. इसका पीडि़ता की अधिवक्ता की ओर से विरोध किया गया. उन्होंने कहा कि प्राथमिकी में पीडि़ता के साथ फोन पर हुई बातचीत की रिकॉर्डिंग भी संलग्न की गई है. एमएलए होने के नाते प्रदीप यादव इस मामले में साक्ष्य के साथ छेड़छाड़ कर सकते हैं. इसलिए इन्हें अग्रिम जमानत नहीं दी जाये. कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद माना कि पुलिस की जांच में एमएलए पर गंभीर आरोप बनता है, इसलिए उन्हें जमानत नहीं दी जा सकती है.