धनबाद: जनगणना निदेशालय के निदेशक ने किया प्रशिक्षण कार्यशाला का निरीक्षण

धनबाद: जनगणना कार्य निदेशालय, झारखंड के निदेशक आशीष सिंहमार ने जनगणना 2021 के लिए प्रगणकों एवं पर्यवेक्षकों के जिला परिषद के सभागार में चल रहे प्रशिक्षण कार्यशाला का निरीक्षण किया.इस अवसर पर उन्होंने प्रगणकों एवं पर्यवेक्षकों को प्री टेस्ट की महत्ता के संबंध में विस्तार से बताया. उन्होंने कहा हर वास्तविक जनगणना से पूर्व प्री टेस्ट किया जाता है. प्री टेस्ट से प्राप्त अनुभव, जानकारियां व समस्याओं को ध्यान में रखते हुए वास्तविक जनगणना का फ्रेमवर्क तैयार किया जाता है.उन्होंने कहा कि जनगणना कार्य एक वैधानिक कार्य है. सभी जनगणना पदाधिकारी भारत सरकार के ऑन ड्यूटी होते हैं. इसलिए सभी प्रगणकों एवं पर्यवेक्षकों, चार्ज से संबंधित अधिकारियों को निष्ठा पूर्वक अपना कार्य करना चाहिए. उन्होंने बताया कि जनगणना से प्राप्त आंकड़े कल्याणकारी योजनाओं, संसदीय एवं विधानसभा क्षेत्रों, पंचायतों और स्थानीय निकायों में सीटों की संख्या के निर्धारण के साथ-साथ इन आंकड़ों की महत्ती आवश्यकता विद्वानों, शोधार्थियों, व्यापारियों उद्योगपतियों व योजनाकारों के लिए होती है. श्री सिंहमार ने बताया कि पहली जनगणना 1872 में की गई थी. तब से हर 10 वर्ष में अबाध रुप से जनगणना की जाती है. उन्होंने बताया कि 16वीं एवं स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात आठवीं जनगणना वर्ष 2021 में की जायेगी.वर्ष 2021 की जनगणना से संबंधित तैयारियां भारत के महारजिस्ट्रार कार्यालय, नई दिल्ली एवं राज्यों के जनगणना निदेशालय द्वारा प्रारंभ कर दी गई है. प्रशिक्षण कार्यक्रम में अपर समाहर्ता श्याम नारायण राम, जिला योजना पदाधिकारी चंद्रभूषण तिवारी, जनगणना निदेशालय के मास्टर ट्रेनर डॉ प्रदीप कुमार, हरेंद्र प्रसाद सिन्हा, सहायक निदेशक संजय कुमार, जिला समन्वयक सादिक हुसैन, मनोज कुमार, सहायक सांख्यिकी पदाधिकारी परशुराम सिंह, नगर निगम के मोहम्मद अनीस, दिलीप कुमार कर्ण, राजकुमार वर्मा सहित प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे नगर निगम के प्रगणक एवं पर्यवेक्षक उपस्थित थे.